This blog is for Study of Madhyasth Darshan (Jeevan Vidya) propounded by Shree A. Nagraj, Amarkantak. (श्री ए. नागराज द्वारा प्रतिपादित मध्यस्थ-दर्शन सह-अस्तित्व-वाद के अध्ययन के लिए)
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Wednesday, February 3, 2016
अनुभव
"सत्ता में सम्पृक्त प्रकृति स्वरूपी अस्तित्व क्यों है? कैसा है? - इसका उत्तर स्वयं में स्थापित होना ही अनुभव है." - श्री ए नागराज
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